हजारीबाग के पठारी व पर्वतीय प्रदेश में स्थित यह आधुनिकऔद्योगिक हुआ, वहाँ एक प्राचीन मन्दिर बना हुआ है। समीप ही एक सरोवर और नगर है। इसे बिहार की ग्रीष्मकालीन राजधानी होने का भी श्रेय प्राप्त है। रॉची समुद्रतल से लगभग 700 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है। रॉची के चारों ओर प्राकृतिक छटा बिखरी पड़ी है। इसके पास में एक पहाड़ी पर स्थित शिव मन्दिर रॉची के सौन्दर्य को भव्यता प्रदान करता हैं। बिहार के सुन्दरतम प्राकृतिक जल-प्रपात रॉची के समीपवर्ती प्रदेश में पड़ते हैं। इनमें सुवर्ण रेखा नदी पर 107 मीटर ऊँचा हुण्डु, प्रपात तथा इसकी सहायक नदी परजोन्हा प्रपात प्रमुख हैं। रॉची बिहार का औद्योगिक नगर है।जहाँ यंत्र-निर्माण तथा खनिजों से सम्बन्धित उद्योगों का विकास हुआ है| झारखण्ड प्रदेश बनाने के उपरान्त अब रॉची उसकी राजधानी है। | हजारीबाग के पठारी व पर्वतीय प्रदेश में स्थित यह आधुनिकऔद्योगिक हुआ, वहाँ एक प्राचीन मन्दिर बना हुआ है। समीप ही एक सरोवर और नगर है। इसे बिहार की ग्रीष्मकालीन राजधानी होने का भी श्रेय प्राप्त है। रॉची समुद्रतल से लगभग 700 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है। रॉची के चारों ओर प्राकृतिक छटा बिखरी पड़ी है। इसके पास में एक पहाड़ी पर स्थित शिव मन्दिर रॉची के सौन्दर्य को भव्यता प्रदान करता हैं। बिहार के सुन्दरतम प्राकृतिक जल-प्रपात रॉची के समीपवर्ती प्रदेश में पड़ते हैं। इनमें सुवर्ण रेखा नदी पर 107 मीटर ऊँचा हुण्डु, प्रपात तथा इसकी सहायक नदी परजोन्हा प्रपात प्रमुख हैं। रॉची बिहार का औद्योगिक नगर है।जहाँ यंत्र-निर्माण तथा खनिजों से सम्बन्धित उद्योगों का विकास हुआ है| झारखण्ड प्रदेश बनाने के उपरान्त अब रॉची उसकी राजधानी है। |