पुनरुत्थान कक्षा २
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विषय
- उद्योग
- योग
- भाषा
- संगीत
- गणित
- विज्ञान
- संस्कृति
- शारीरिक शिक्षण
विषय-उद्योग
1. रेखाएँ बनाना :
- रेखाओं की सहायता से विविध आकार (डिझाइन) बनाना।
- आडी, तिरछी रेखाओं से स्लेट को सुशोभित करना, सीमा रेखा बनाना।
2. चित्र :
- रेखाचित्र बनाना (चित्रपोथी पृष्ठ क्रमांक 3 से 12 तक)
- चित्र बनाकर रंग भरना।
- बिंदु जोड़कर रंगोली बनाना।
- ज्यामितिय आकारों पर आधारित चित्र बनाकर रंग भरना।
3. काटना :
- हाथ से, कैची से, मापिका से, धागे से कागज की पटियाँ काटकर तोरण बनाना।
- कपड़ा, थान, पुट्ठा काटना।
- सब्जियों और फल काटना। (आलू, गाजर, लौकी, केला. सेब ... आदि । काटना)
4. माटी काम :
- मिट्टी को कूटकर, छानकर, भिगोकर, गूंथकर खिलौन बनाना।
- ईटों का आकार देना. ईटे पकाना, ईटों को रंग करना, घर बनाना।
5. प्रवृत्ति :
- पस्तक लेखन पुस्तिका को पुट्ठा चढ़ाना या आवरण चढ़ाना।
- चित्र पर अनाज, रेत, साबुत दालों आदि को गोंद से अथवा फेविकॉल से चिपकाना।
- कागज की थैलियाँ, लिफाफे बनाना।
- छोटे-बड़े मोतियों की माला बनाना।
- सुई से कपड़े पर, जूट के थैलों पर अथवा जालीदार कपड़े पर टाँका लगाना।
- रुई से दीपक की बाती बनाना।
- पूरी, रोटी, पराठे बेलना।
- वाल की सेंग, फली, अनार, उबला हुआ आलू छीलना।
- भल बनाना।
६. कृषि :
- क्यारी तैयारी करना।
- बीज अथवा पौधे रोपना, पौधे की वृद्धि का अवलोकन करना।
References
भारतीय शिक्षा : पुनरुत्थान कक्षानुसार पाठ्यक्रम - कक्षा २, प्रकाशक: पुनरुत्थान प्रकाशन सेवा ट्रस्ट, लेखन एवं संपादन: श्रीमती इंदुमती काटदरे